हर वक़्त तेरे आने की आस रहती है
हर पल तुझसे मिलने की प्यास रहती है
सब कुछ है यहाँ बस तू नही!
इसलिए शायद ये जिंदगी उदाजिस्म से होने वाली मोहब्बत का इज़हार आसान होता है
रूह से हुई मोहब्बत समझने में ज़िन्दगी
जख्म बन जानेँ की आदत है उसकी
रुला कर मुस्कुरानेँ की आदत है उसकी
मिलेगेँ कभी तोँ खुब रूलायेँ उसको,सुना है रोतेँ हूऐ लिपट जाने की आदत है उसकी गुजर जाती हैस रहती है!
हर पल तुझसे मिलने की प्यास रहती है
सब कुछ है यहाँ बस तू नही!
इसलिए शायद ये जिंदगी उदाजिस्म से होने वाली मोहब्बत का इज़हार आसान होता है
रूह से हुई मोहब्बत समझने में ज़िन्दगी
जख्म बन जानेँ की आदत है उसकी
रुला कर मुस्कुरानेँ की आदत है उसकी
मिलेगेँ कभी तोँ खुब रूलायेँ उसको,सुना है रोतेँ हूऐ लिपट जाने की आदत है उसकी गुजर जाती हैस रहती है!
उसने उतारी साडी,
फिर आई पेटीकोट की बारी;
ब्लाउज तो पहले ही दिया था उतार;
ज्यादा उत्साहित ना हो मेरे यार,
यह तो था कपडे सुखाने का तार।
फिर आई पेटीकोट की बारी;
ब्लाउज तो पहले ही दिया था उतार;
ज्यादा उत्साहित ना हो मेरे यार,
यह तो था कपडे सुखाने का तार।
✭ ✯ ✰ ✱ ✲ ❃ ❂ ❁
कौन कहता है लंड यहां मूतने को आता है;
हम खुश हुए कि हम भी इसकी उपज हैं;
लेकिन अफ़सोस, यह तुम्हें मिलकर मालूम हुआ;
कि यह तेरे जैसे गांडू भी बनाता है।
हम खुश हुए कि हम भी इसकी उपज हैं;
लेकिन अफ़सोस, यह तुम्हें मिलकर मालूम हुआ;
कि यह तेरे जैसे गांडू भी बनाता है।
✭ ✯ ✰ ✱ ✲ ❃ ❂ ❁
चाहत तो थी उनके दिल में बस जाने की;
कम्बखत ने ब्लाउस के बटन ही ना खोले!
कम्बखत ने ब्लाउस के बटन ही ना खोले!
✭ ✯ ✰ ✱ ✲ ❃ ❂ ❁
अतीत के पन्नों में झाँका तो ये लगा;
आज मेरा स्वार्थ मेरे संस्कारों से भी बड़ा हो गया;
बचपन में जिन्हें मैडम जी कह कर पैर छूता था
आज फिर से उन्हें देखा तो लौड़ा खड़ा हो गया।
आज मेरा स्वार्थ मेरे संस्कारों से भी बड़ा हो गया;
बचपन में जिन्हें मैडम जी कह कर पैर छूता था
आज फिर से उन्हें देखा तो लौड़ा खड़ा हो गया।
✭ ✯ ✰ ✱ ✲ ❃ ❂ ❁
कल चोदे सो आज चोद, आज चोदे सो अब;
बीबी तो चुदती रहेगी, पड़ोसन चोदेगा कब !
बीबी तो चुदती रहेगी, पड़ोसन चोदेगा कब !
✭ ✯ ✰ ✱ ✲ ❃ ❂ ❁
न देख ऐसे आसमान को इतनी हसरत से, मेरे प्यारे दोस्त;
किसी परिन्दे ने मुँह पर हग दिया तो सारी हसरतों की “माँ चुद” जायेगी!
किसी परिन्दे ने मुँह पर हग दिया तो सारी हसरतों की “माँ चुद” जायेगी!
✭ ✯ ✰ ✱ ✲ ❃ ❂ ❁
अर्ज़ किया है:
जिस दिन उनसे दिल लगा बैठे;
तनहा में सुकून कि माँ चुदा बैठे।
वो तो सो गयी, किसी और के बिस्तर पे;
और हम अपनी ही झांटो में आग लगा बैठे।
जिस दिन उनसे दिल लगा बैठे;
तनहा में सुकून कि माँ चुदा बैठे।
वो तो सो गयी, किसी और के बिस्तर पे;
और हम अपनी ही झांटो में आग लगा बैठे।
✭ ✯ ✰ ✱ ✲ ❃ ❂ ❁जोश भरे लंड को यूँ ठुकराया नहीं करते;
यूँ चूत दिखा कर आगे से गुज़र जाया नहीं करते;
क्या हुआ अगर मेरा घर, महल नहीं किसी राजा का, तो क्या झोंपड़ी में लोग चुदवाया नहीं करते।
यूँ चूत दिखा कर आगे से गुज़र जाया नहीं करते;
क्या हुआ अगर मेरा घर, महल नहीं किसी राजा का, तो क्या झोंपड़ी में लोग चुदवाया नहीं करते।
✭ ✯ ✰ ✱ ✲ ❃ ❂ ❁
निगाहों से निगाहें मिला कर तो देखो;
कभी किसी लड़की को पटा कर तो देखो।
कभी किसी लड़की को पटा कर तो देखो।
हसरतें दिल में दबाने से क्या फ़ायदा;
अपने हाथों से ज़रा दबा कर तो देखो।
अपने हाथों से ज़रा दबा कर तो देखो।
आसमान सिमट जाएगा तुम्हारे आगोश में;
लड़की की टाँगें फैला कर तो देखो।
लड़की की टाँगें फैला कर तो देखो।
अगर यह ना कर सको तो हार मत मानना;
दो बूँदें तो ज़रूर गिरेंगी, यारो;
ज़रा अपने लंड को हिला कर तो देखो।
ज़रा अपने लंड को हिला कर तो देखो।
✭ ✯ ✰ ✱ ✲ ❃ ❂ ❁
रात होगी तो कंडोम भी दुहाई देगा;
टांगो के बीच सारा जहां दिखाई देगा;
ये काम है जानी, जरा संभलकर करना;
एक कतरा भी गिरा तो 9 महीने बाद सुनाई देगा।
टांगो के बीच सारा जहां दिखाई देगा;
ये काम है जानी, जरा संभलकर करना;
एक कतरा भी गिरा तो 9 महीने बाद सुनाई देगा।
✭ ✯ ✰ ✱ ✲ ❃ ❂ ❁
मौहब्बत के सिवा और भी गम है जमाने में;
चुत का भौसडा बन जाता है पैसा कमाने में।
चुत का भौसडा बन जाता है पैसा कमाने में।
✭ ✯ ✰ ✱ ✲ ❃ ❂ ❁
प्यार किस्मत है कोई ख्वाब नहीं;
ये वो खेल है जिसमें सब कामयाब नहीं;
जिन्हें इश्क की पनाह मिली वो कुछ ही लोग हैं;
और जिनके लौड़े लग गए उनका तो हिसाब नहीं।
ये वो खेल है जिसमें सब कामयाब नहीं;
जिन्हें इश्क की पनाह मिली वो कुछ ही लोग हैं;
और जिनके लौड़े लग गए उनका तो हिसाब नहीं।
✭ ✯ ✰ ✱ ✲ ❃ ❂ ❁
मोहब्बत करने वालों को इनकार अच्छा नहीं लगता;
बहनचोद दुनिया वालों को ये इक़रार अच्छा नहीं लगता;
जब तक लड़का-लड़की भाग ना जाएँ;
सालों को प्यार सच्चा नहीं लगता।
मोहब्बत करने वालों को इनकार अच्छा नहीं लगता;
बहनचोद दुनिया वालों को ये इक़रार अच्छा नहीं लगता;
जब तक लड़का-लड़की भाग ना जाएँ;
सालों को प्यार सच्चा नहीं लगता।
✭ ✯ ✰ ✱ ✲ ❃ ❂ ❁
अर्ज़ किया है:
उड़ती हुई फ्रॉक को काबू में रखो;
उड़ती हुई फ्रॉक को काबू में रखो;
पेंटी ना पहनो कोई बात नहीं;
कम से कम बगीचा तो साफ़ रखो।
उड़ती हुई फ्रॉक को काबू में रखो;
उड़ती हुई फ्रॉक को काबू में रखो;
पेंटी ना पहनो कोई बात नहीं;
कम से कम बगीचा तो साफ़ रखो।
✭ ✯ ✰ ✱ ✲ ❃ ❂ ❁
चोदते चोदते सुबह हो गयी लंड पे पड़ गए छाले;
चूत फट के गुफा हो गयी वाह रे चोदने वाले!
चूत फट के गुफा हो गयी वाह रे चोदने वाले!
✭ ✯ ✰ ✱ ✲ ❃ ❂ ❁
महबूब मेरे… महबूब मेरे;
तेरी मस्ती में मुझे जीने दे;
बोहुत दूध है तेरे सीने में;
मुझे दबा दबा के पीने दे!
तेरी मस्ती में मुझे जीने दे;
बोहुत दूध है तेरे सीने में;
मुझे दबा दबा के पीने दे!
✭ ✯ ✰ ✱ ✲ ❃ ❂ ❁
हमने तो वफ़ा की थी, पर उसने ही दिल तोडा मेरा;
फिर एक दिन उसने मैसेज किया, ‘याद आती है क्या?’
हमने भी लिख दिया ‘लौड़ा मेरा’!
फिर एक दिन उसने मैसेज किया, ‘याद आती है क्या?’
हमने भी लिख दिया ‘लौड़ा मेरा’!
✭ ✯ ✰ ✱ ✲ ❃ ❂ ❁
कुंवारी कलि ना चोदिये, चूत पे करे घमंड;
चुदी चुदाई चोदिये, जो लपक के लेवे लंड।
चुदी चुदाई चोदिये, जो लपक के लेवे लंड।
✭ ✯ ✰ ✱ ✲ ❃ ❂ ❁
देख तेरे लंड की हालत क्या हो गई है इंसान;
उसमें बची नहीं है अब कोई जान;
बूब्स दिखाये, चूत दिखाई और दिखाई गांड;
फिर भी उठा नहीं शैतान;
कितना लटक गया हैवान।
उसमें बची नहीं है अब कोई जान;
बूब्स दिखाये, चूत दिखाई और दिखाई गांड;
फिर भी उठा नहीं शैतान;
कितना लटक गया हैवान।
ऐ दिल थोड़ी सी हिम्मत कर ना यार,
चल दोनों मिल कर उसे भूल जाते है !
चल दोनों मिल कर उसे भूल जाते है !
⊱✿ ✦✧ 2 ✧✦ ✿⊰
जरूरत है मुझे नये नफरत करने वालाे की
पुराने ताे अब मुझे चाहने लगे है !
पुराने ताे अब मुझे चाहने लगे है !
⊱✿ ✦✧ 3 ✧✦ ✿⊰
बुरे हे हम तभी तो जी रहे हे..
अच्छे होते तो दुनिया जीने नही देती !
अच्छे होते तो दुनिया जीने नही देती !
⊱✿ ✦✧ 4 ✧✦ ✿⊰
एक तो सुकुन और एक तुम..
कहाँ रहते हो आजकल मिलते ही नही !
कहाँ रहते हो आजकल मिलते ही नही !
⊱✿ ✦✧ 5 ✧✦ ✿⊰
बात मुक्कदर पे आ के रुकी है वर्ना,
कोई कसर तो न छोड़ी थी तुझे चाहने में !
कोई कसर तो न छोड़ी थी तुझे चाहने में !
तूने ही लगा दिया इलज़ाम-ए-बेवफाई,
मेरे पास तो चश्मदीद गवाह भी तु ही थी !
मेरे पास तो चश्मदीद गवाह भी तु ही थी !
⊱✿ ✦✧ 7 ✧✦ ✿⊰
जब मिलो किसी से तो जरा दूर का रिश्ता रखना,
बहुत तङपाते हैँ अक्सर सीने से लगाने वाले !
बहुत तङपाते हैँ अक्सर सीने से लगाने वाले !
⊱✿ ✦✧ 8 ✧✦ ✿⊰
बंद कर दिए है हमने दरवाज़ें “इश्क” के…
पर तेरी याद हे की “दरारों” मे से भी आ जाती हैं !
पर तेरी याद हे की “दरारों” मे से भी आ जाती हैं !
⊱✿ ✦✧ 9 ✧✦ ✿⊰
बस तुम्हेँ पाने की तमन्ना नहीँ रही..
मोहब्बत तो आज भी तुमसे बेशुमार करतेँ हैँ !
मोहब्बत तो आज भी तुमसे बेशुमार करतेँ हैँ !
⊱✿ ✦✧ 10 ✧✦ ✿⊰
अरे कितना झुठ बोलते हो तुम
खुश हो और कह रहे हो मोहब्बत भी की है !
खुश हो और कह रहे हो मोहब्बत भी की है !
सीख जाओ वक्त पर किसी की चाहत की कदर करना..
कहीं कोई थक ना जाये तुम्हें एहसास दिलाते दिलाते..
कहीं कोई थक ना जाये तुम्हें एहसास दिलाते दिलाते..
⊱✿ ❁ ⊹ ✬ ⊹ ❁ ✿⊰
तुम्हारे शहर का मौसम बड़ा सुहाना लगे..
मैं एक शाम चुरा लूँ अगर बुरा न लगे..!!!
मैं एक शाम चुरा लूँ अगर बुरा न लगे..!!!
⊱✿ ❁ ⊹ ✬ ⊹ ❁ ✿⊰
मुजे ऊंचाइयों पर देखकर हैरान है बहुत लोग,
पर किसी ने मेरे पैरो के छाले नहीं देखे…..!!
पर किसी ने मेरे पैरो के छाले नहीं देखे…..!!
⊱✿ ❁ ⊹ ✬ ⊹ ❁ ✿⊰
रिश्ते खराब होने की एक वजह ये भी है,
कि लोग झुकना पसंद नहीं करते…!!
कि लोग झुकना पसंद नहीं करते…!!
⊱✿ ❁ ⊹ ✬ ⊹ ❁ ✿⊰
इश्क में इसलिए भी धोखा खानें लगें हैं लोग
दिल की जगह जिस्म को चाहनें लगे हैं लोग..
इश्क में इसलिए भी धोखा खानें लगें हैं लोग
दिल की जगह जिस्म को चाहनें लगे हैं लोग..
मत पूछ कैसे गुज़र रही है ज़िन्दगी;
उस दौर से गुज़र रहा हूँ जो गुज़रता ही नहीं।
उस दौर से गुज़र रहा हूँ जो गुज़रता ही नहीं।
⊱✿ ✣ ✿⊰ ⊱✿ ✣ ✿⊰ ⊱✿ ✣ ✿⊰
शिखर पर खड़ी हूँ मंज़िल के मैं;
पैरों को घेरे यह फिर कैसे भंवर हैं।
पैरों को घेरे यह फिर कैसे भंवर हैं।
⊱✿ ✣ ✿⊰ ⊱✿ ✣ ✿⊰ ⊱✿ ✣ ✿⊰
उदासी तुम पे बीतेगी तो तुम भी जान जाओगे कि,
कितना दर्द होता है नज़र अंदाज़ करने से।
कितना दर्द होता है नज़र अंदाज़ करने से।
⊱✿ ✣ ✿⊰ ⊱✿ ✣ ✿⊰ ⊱✿ ✣ ✿⊰
हम तो सोचते थे कि लफ्ज़ ही चोट करते हैं;
मगर कुछ खामोशियों के ज़ख्म तो और भी गहरे निकले।
मगर कुछ खामोशियों के ज़ख्म तो और भी गहरे निकले।
⊱✿ ✣ ✿⊰ ⊱✿ ✣ ✿⊰ ⊱✿ ✣ ✿⊰
दर्द से हम अब खेलना सीख गए;
बेवफाई के साथ अब हम जीना सीख गए;
क्या बतायें किस कदर दिल टूटा है हमारा;
मौत से पहले हम कफ़न ओढ़ कर सोना सीख गए।
बेवफाई के साथ अब हम जीना सीख गए;
क्या बतायें किस कदर दिल टूटा है हमारा;
मौत से पहले हम कफ़न ओढ़ कर सोना सीख गए।
⊱✿ ✣ ✿⊰ ⊱✿ ✣ ✿⊰ ⊱✿ ✣ ✿⊰
तेरी याद में ज़रा आँखें भिगो लूँ;
उदास रात की तन्हाई में सो लूँ;
अकेले ग़म का बोझ अब संभलता नहीं;
अगर तू मिल जाये तो तुझसे लिपट कर रो लूँ।
उदास रात की तन्हाई में सो लूँ;
अकेले ग़म का बोझ अब संभलता नहीं;
अगर तू मिल जाये तो तुझसे लिपट कर रो लूँ।
⊱✿ ✣ ✿⊰ ⊱✿ ✣ ✿⊰ ⊱✿ ✣ ✿⊰
हमें भी याद रखें जब लिखें तारीख गुलशन की;
कि हमने भी लुटाया है चमन में आशियां अपना।
कि हमने भी लुटाया है चमन में आशियां अपना।
⊱✿ ✣ ✿⊰ ⊱✿ ✣ ✿⊰ ⊱✿ ✣ ✿⊰
मुझ को तो होश नहीं तुमको खबर हो शायद;
लोग कहते हैं कि तुमने मुझे बर्बाद कर दिया।
लोग कहते हैं कि तुमने मुझे बर्बाद कर दिया।
⊱✿ ✣ ✿⊰ ⊱✿ ✣ ✿⊰ ⊱✿ ✣ ✿⊰
सब कुछ बदला बदला था जब बरसो बाद मिले;
हाथ भी न थाम सके वो इतने पराये से लगे।
हाथ भी न थाम सके वो इतने पराये से लगे।
⊱✿ ✣ ✿⊰ ⊱✿ ✣ ✿⊰ ⊱✿ ✣ ✿⊰
पढ़ तो लिए है मगर अब कैसे फेंक दूँ;
खुशबू तुम्हारे हाथों की इन कागज़ों में जो है।
खुशबू तुम्हारे हाथों की इन कागज़ों में जो है।
⊱✿ ✣ ✿⊰ ⊱✿ ✣ ✿⊰ ⊱✿ ✣ ✿⊰
हम तुझ से किस हवस की फ़लक जुस्तुजू करें;
दिल ही नहीं रहा है कि कुछ आरज़ू करें।
दिल ही नहीं रहा है कि कुछ आरज़ू करें।
⊱✿ ✣ ✿⊰ ⊱✿ ✣ ✿⊰ ⊱✿ ✣ ✿⊰
ऐ आईने तेरी भी हालत अजीब है मेरे दिल की तरह;
तुझे भी बदल देते हैं यह लोग तोड़ने के बाद।
तुझे भी बदल देते हैं यह लोग तोड़ने के बाद।
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