तुम्हें रातें रुलायेंगी...
मेरी यादें, मेरा चेहरा, मेरी बातें रुलायेंगी,
हिज़्र के दौर में, गुज़री मुलाकातें रुलायेंगी,
दिन तो चलो तुम काट भी लोगे फसानों में,
जहाँ तन्हा रहोगे तुम, तुम्हें रातें रुलायेंगी।
हिज़्र के दौर में, गुज़री मुलाकातें रुलायेंगी,
दिन तो चलो तुम काट भी लोगे फसानों में,
जहाँ तन्हा रहोगे तुम, तुम्हें रातें रुलायेंगी।
वो मेरा हमसफर भी था वो मेरा राहगुजर भी था,
मंजिलें ही एक न थीं, दरमियाँ ये फासला भी था।
मंजिलें ही एक न थीं, दरमियाँ ये फासला भी था।
हुस्न इश्क़ तो धोखा...
किसी का यूँ तो हुआ कौन उम्र भर फिर भी,
ये हुस्न ओ इश्क़ तो धोखा है सब मगर फिर भी।
ये हुस्न ओ इश्क़ तो धोखा है सब मगर फिर भी।
रास्ते तबाही के...
रास्ते खुद ही तबाही के निकाले हमने,
कर दिया दिल किसी पत्थर के हवाले हमने,
हमें मालूम है क्या चीज़ है मोहब्बत यारो,
घर अपना जला कर किये हैं उजाले हमने।
कर दिया दिल किसी पत्थर के हवाले हमने,
हमें मालूम है क्या चीज़ है मोहब्बत यारो,
घर अपना जला कर किये हैं उजाले हमने।
friendship shayari
ReplyDelete