🍁 *रिश्ता*
रिश्ता चाहे *खुन* का हो या *एहसास* का..
रिश्ता अक्सर कुछ *गलत फ़हमी*
के वज़ह से *खराब* होता है…
*रिश्ता* चाहे कैसा भी हो..
उसको *निभाने* के लिये
*त्याग* और *प्यार*
कुछ *समझदारी* की भी
*ज़रुरी* रहती है.!!
फ़िर *रिश्ता* कभी भी *खराब* नहीं हो सकता.!
🌹🍁 *good_morning*🍁🌹
No comments:
Post a Comment